भारतीय मीडिया के सबसे बड़े चेहरे के तौर पर जाने जाने वाले रवीश कुमार का प्राइम टाइम शो बीते रात एक पत्रकार ने देखा और शो देखने के बाद जोश-जोश में पत्रकार साहब ने ट्वीट भी कर दिया. लेकिन हिंदी के पत्रकार अपने ट्वीट में हिंदी भी ढंग से नहीं लिख पाए. अब आप सोच रहे होगे ये पत्रकार साहब कौन हैं? तो हम आपको बता दें कि यह वहीं पत्रकार है जो रिपोर्टिंग करने के लिए सूट पहनकर चांद पर पहुंच गए थे.
अब तो आप पहचान ही गए होगें जी हां हम बात कर रहे हैं पत्रकार दीपक चौरसिया की. दीपक चौरसिया गलती से एनडीटीवी के पत्रकार और एशिया का नोबल कहे जाने वाले मैग्सेसे अवार्ड से सम्मानित रवीश कुमार का प्राइम टाइम देख लिया था और इसी के बाद उन्होंने एक ट्वीट किया.
दीपक चौरसिया ने अपने ट्वीट में लिखा कि आज गलती से रवीश कुमार का प्राइम टाइम देखा. रवीश ने दिल्ली में हुए दं’गों की आरोपी सफूरा, नताशा और देवंगाना को पीड़ित साबित कर दिया. क्या इंसाफ हैं? इतना ही नहीं यह भी साबित कर दिया कि दिल्ली पुलिस की एफआईआर भी एक कलपित कहानी हैं जिसे नोबेल पुरस्कार मिलना चाहिए.
आज गलती से #RavishKumar का प्राइम टाइम देखा। रवीश ने #DelhiRiots के आरोपी सफूरा ,नताशा और देवांगाना को विक्टिम साबित कर दिया। क्या इंसाफ है? ये भी साबित कर दिया कि दिल्ली पुलिस की FIR एक कलपित कहानी है जिसे नोबेल पुरस्कार मिले। हे भगवान मुझे इतना बुद्धजीवी क्यों नहीं बनाया?
— Deepak Chaurasia (@DChaurasia2312) June 12, 2020
उन्होंने आगे लिखा कि हे भगवान मुझे भी इतना बुद्धजीवी क्यों नहीं बनाया? इसके बाद सोशल मीडिया पर दीपक का यह ट्वीट वायरल होने लगा और लोग उन्हें ट्रोल करने लगे.
दीपक के ट्वीट पर कई बड़े और वरिष्ठ पत्रकारों ने अपनी प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि जो लोग ढंग से हिंदी नहीं लिख पाते हैं वो रवीश कुमार बनना चाहते हैं. पत्रकार आरफा खानुम शेरवानी ने लिखा कि बुद्धजीवी? हिंदी के पत्रकार होकर जो हिंदी नहीं लिख सकते हैं, वो रवीश कुमार बनना चाहते हैं.
बुद्धजीवी ?
हिंदी के ‘पत्रकार’ जो हिंदी नहीं लिख सकते, वो रवीश कुमार बनना चाहते हैं। https://t.co/Zwom32mNvA
— Arfa Khanum Sherwani (@khanumarfa) June 13, 2020
वहीं कई यूजर ने दीपक के ट्वीट पर अपनी प्रतिक्रियां दी. एक ट्विटर यूजर विपिन राठौर ने लिखा कि मैं तुमको गलती से भी नहीं देखता हूं और हां तुम रवीश कुमार कभी नहीं बन सकते हो कभी नहीं.
इस जनम में बुद्धिजीवी शब्द सही तरह लिखना सीख लें । अगले की देखी जाएगी। https://t.co/brhlfY8Fjt
— Mrinal Pande (@MrinalPande1) June 13, 2020
वहीं एक और यूजर ने उन्हें सलाह देते हुए लिखा कि रोज़ देखा करो, हो सकता है किसी दिन थोड़ी बहुत शर्म आ जाये और आप थोड़ी पत्रकारिता ही करने लगें.
रोज़ देखा करो, हो सकता है किसी दिन शर्म आ जाये और आप थोड़ी पत्रकारिता ही करने लगें । https://t.co/tB8nuozgxv
— Saniya Sayed (@Ssaniya25) June 12, 2020
दरअसल दीपक चौरसिया अक्सर ही ट्वीटर पर हिंदी लिखते समय गलतियां करते रहते हैं. इसके आलावा कई बार दीपक गलत जानकारियां भी ट्वीटर पर शेयर करते रहते हैं. अभी हाल ही में केरल में हथिनी के मामले पर भी दीपक ने समुदाय विशेष को बदनाम करने की कोशिश की थी.